ias abhishek surana : पिता की मेहनत की कीमत को समझकर पहले पास की आईईटी परीक्षा फिर यूपीएससी परीक्षा में 10वीं रैंक हासिल की, बनें आईएएस अधिकारी

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आज के दौर में जब विदेश में नौकरी पाना युवाओं का सपना बन गया है, ऐसे में कुछ ऐसे भी लोग हैं जो विदेश में जमी जमाई नौकरी को भी अपनी वतन की मिट्टी के लिए छोड़ देते हैं। कुछ लोगों को अपने देश से इतना प्यार होता है कि वह अपने देश से दूर रह ही नहीं पाते हैं। ऐसी ही कुछ कहानी है आईएएस ऑफिसर अभिषेक सुराना की।

आईआईटी से पढ़ाई करने वाले अभिषेक सुराना की विदेश में अच्छे पैकेज पर नौकरी थी, लेकिन देश की मिट्टी उन्हें वापस खींच लाई और यहां आकर उन्होंने देश सेवा में ही जिंदगी बिताने का फैसला किया। और इस फैसले को पूरा करने के लिए वह यूपीएससी की तैयारी में लग गए। कठिन परिश्रम और संघर्ष के बाद अभिषेक का सपना पूरा हुआ और वह आज एक आईएएस ऑफिसर बनकर देश की सेवा कर रहे हैं। जानते हैं उनकी सफलता की कहानी के बारे में

कौन हैं (ias abhishek surana) आईएएस अभिषेक सुराना

अभिषेक सुराना का जन्म राजस्थान राज्य के भीलवाड़ा जिले में हुआ था। उनका जन्म एक साधारण परिवार में हुआ था. एक साक्षात्कार में बताया था कि वो अपने पिता को प्रेरणा स्त्रोत मानते हैं. पिता की अटूट मेहनत उन्हें पढ़ने के लिए हमेशा प्रेरित करती रहती थी. बचपन से ही पढ़ाई में होशियार रहने वाले अभिषेक ने 12वीं की परीक्षा उत्तीर्ण करने के बाद आईआईटी में प्रवेश लेने का फैसला लिया। पहले ही प्रयास में आईआईटी की परीक्षा उत्तीर्ण करने वाले अभिषेक को आईआईटी दिल्ली में इंजीनियरिंग मे प्रवेश मिल गया। दिल्ली आईआईटी से इलेक्ट्रिकल ब्रांच से इंजीनियरिंग की डिग्री हासिल करने के बाद अभिषेक को अच्छे पैकेज में विदेश में नौकरी मिल गई।

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कहने को तो इनकी जिंदगी सेट हो चुकी थी। लेकिन इन्हें यह जिंदगी रास नहीं आई। विदेश में रहकर यह अपने देश की मिट्टी की सुगन्ध भूल नहीं पाए। कुछ साल नौकरी करने के बाद इन्होंने अपने देश वापस लौट आने का फैसला किया। अपने देश वापस लौट आने के बाद अभिषेक के मन में समाज के प्रति कुछ करने की इच्छा जागृत हुई। इसके लिए उन्होंने यूपीएससी की तैयारी शुरू की।

यूपीएससी परीक्षा में 2 बार मिली असफलता

हालांकि अभिषेक सुराना के लिए यूपीएससी परीक्षा में सफलता पाने का सफर इतना आसान नहीं था. लगातार दो प्रयासों में इन्हें असफलता हाथ लगी। तीसरे प्रयास में इन्हें सफलता तो मिली लेकिन रैंक बहुत ज्यादा था। तीसरे प्रयास में इन्होंने 250 वीं रैंक के साथ यूपीएससी की परीक्षा उत्तीर्ण की। इस रैंक के साथ आईएएस की पोस्ट मिलना मुमकिन नहीं था। अतः इन्होंने एक बार फिर से प्रयास करने का फैसला किया। आखिरकार यह अपनी मंजिल तक पहुंचने में सफल हुए।

10वीं रैंक हासिल कर बनें टॉपर

अभिषेक सुराना ने साल 2017 में 10 वीं रैंक के साथ यूपीएससी की परीक्षा उत्तीर्ण की। और आईएएस ऑफिसर बनने में सफल हुए। यूपीएससी की परीक्षा के लिए उन्होंने वैकल्पिक विषय के रूप में भौतिक विज्ञान का चयन किया था। अभिषेक सुराना का मानना है जो भी अभ्यर्थी यूपीएससी परीक्षा की तैयारी करते हैं, उन्हें मानसिक तौर पर बहुत मजबूत रहने की आवश्यकता होती है।

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यूपीएससी की तैयारी के राह में बहुत सी मुश्किलें आती हैं, सामने कई चुनौतियां आती है जो अभ्यर्थी इन चुनौतियों का सामना करने की काबिलियत रखते हैं वही यूपीएससी जैसी कठिन परीक्षा को उत्तीर्ण कर सकते हैं। यूपीएससी की परीक्षा की तैयारी करने वाले अभ्यर्थियों को असफलताओं से घबराना नहीं चाहिए। बिना रुके लक्ष्य की तरफ कदम बढ़ाते रहना चाहिए। जो अभ्यर्थी निडर होकर पूरी मेहनत और शिद्दत के साथ परीक्षा की तैयारी में जुटे रहते हैं, उन्हें सफलता अवश्य मिलती हैं।

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